पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने सस्पेंशन आदेश पर रोक लगाई
हरियाणा के कैबिनेट मंत्री महिपाल ढांडा के द्वारा की गई शिकायत के आधार पर ऊर्जा मंत्री अनिल विज के आदेश पर सस्पेंड किए गए सुपरिंटेंडेंट इंजीनियर (SE) हरि दत्त के सस्पेंशन आदेश को पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने रद्द कर दिया है। हाईकोर्ट ने अपने फैसले में इस सस्पेंशन को बिना किसी स्पष्ट कारण के बताया और इसे निरस्त कर दिया। कोर्ट ने कहा कि अगर सरकार चाहे, तो इस मामले में नए आदेश जारी कर सकती है।
किसानों की समस्याओं के समाधान के लिए SE से संपर्क किया था ढांडा ने
यह घटना तब हुई जब शिक्षा मंत्री महिपाल ढांडा, जो जींद में जिला परिवेदना समिति के अध्यक्ष हैं, ने किसानों की समस्याओं को लेकर SE हरि दत्त से संपर्क किया था। हालांकि, SE ने उनका फोन नहीं उठाया, जिससे मंत्री ढांडा नाराज हो गए। इस प्रकार, ढांडा ने SE के खिलाफ ऊर्जा मंत्री अनिल विज से शिकायत की थी।
विज ने तत्काल सस्पेंशन का आदेश दिया
किसानों की समस्या के समाधान में देरी को लेकर मंत्री अनिल विज ने तत्काल SE के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया। उनके आदेश के कुछ ही समय बाद हिसार के DHBVNL अधीक्षक अभियंता ने हरि दत्त का सस्पेंशन आदेश जारी कर दिया। इसके बाद SE ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया।
हरियाणा सरकार की दलीलें और हाईकोर्ट का फैसला
हरियाणा सरकार की तरफ से कोर्ट में यह दलील दी गई कि SE के डिवीजन में काफी कम रिकवरी रही थी, इस कारण से उन्हें सस्पेंड किया गया था। सरकार ने यह भी बताया कि अधिकारी के खिलाफ विभाग चार्जशीट तैयार कर रहा था। हालांकि, हाईकोर्ट ने इस दलील को खारिज कर दिया और सस्पेंशन आदेश को बिना किसी ठोस कारण के निरस्त कर दिया। कोर्ट ने सरकार को इस मामले में नया आदेश पारित करने की स्वतंत्रता दी।
सुपरिंटेंडेंट इंजीनियर की स्थिति
सस्पेंशन के बाद, SE हरि दत्त को दिल्ली स्थित चीफ इंजीनियर ऑफिस में अटैच किया गया था और वे वहां अपनी उपस्थिति दर्ज करा रहे थे। अब हाईकोर्ट के फैसले के बाद, SE को राहत मिली है और उनके सस्पेंशन आदेश को निरस्त कर दिया गया है।
यह पूरा घटनाक्रम हरियाणा की राजनीति और प्रशासनिक तंत्र में एक नया मोड़ लाता है, जिससे मंत्री महिपाल ढांडा और ऊर्जा मंत्री अनिल विज के लिए एक बड़ा झटका साबित हुआ है।