1990 के चर्चित महम कांड को लेकर चौटाला परिवार के भीतर एक बार फिर विवाद गर्म हो गया है। INLD के राष्ट्रीय अध्यक्ष अभय चौटाला के बेटे और सिरसा जिला परिषद के चेयरमैन कर्ण चौटाला के बयान पर जननायक जनता दल (JJP) अब कोर्ट जाने की तैयारी में है। JJP ने 5 नवंबर को कर्ण को नोटिस भेजकर 15 दिनों में जवाब मांगा था, लेकिन समयसीमा पूरी होने के बाद भी कोई उत्तर नहीं आया। इसके बाद पार्टी ने अब कानूनी लड़ाई लड़े जाने का निर्णय लिया है।
JJP प्रवक्ता मंदीप बिश्नोई का बयान — “अब अदालत में होगी शिकायत”
JJP प्रवक्ता और एडवोकेट मंदीप बिश्नोई ने एक समाचार पत्र की वेबसाइट पर प्रकाशित बयान में कहा है कि कर्ण चौटाला द्वारा दिए गए इंटरव्यू में तथ्यात्मक गलतियां हैं और इन्हीं के आधार पर वे अदालत में औपचारिक शिकायत दर्ज करेंगे। उन्होंने बताया कि कर्ण के बयान में यह दावा किया गया कि महम कांड की FIR में अजय चौटाला का नाम था, जबकि JJP इसे गलत बताती है। इसी तथ्य को स्पष्ट करने के उद्देश्य से महम थाने से FIR की कॉपी मांगी गई है। बिश्नोई ने कहा कि JJP कोर्ट में सभी आवश्यक सबूत पेश करेगी और अदालत सबूतों के आधार पर समन जारी कर सकती है।
अभय चौटाला का पलटवार — “नोटिस गलत, JJP मांगे माफी”
उधर, अभय सिंह चौटाला ने JJP के इस कदम को राजनीतिक हथकंडा बताते हुए कहा कि नोटिस पूरी तरह गलत है। उनका कहना है कि महम कांड की CBI जांच में उनका किसी भी तरह का नाम नहीं आया और FIR में भी उनका कोई उल्लेख नहीं है। अभय ने दावा किया कि FIR में अजय चौटाला का नाम था, इसलिए JJP का नोटिस तथ्यहीन और निराधार है। उन्होंने कहा कि इस मामले में JJP को ही अपनी गलती के लिए माफी मांगनी पड़ेगी।
कर्ण चौटाला का पुराना बयान फिर चर्चा में आया
कर्ण चौटाला ने 9 अक्टूबर को एक इंटरव्यू में कहा था कि CBI जांच में यह स्पष्ट था कि महम कांड में अभय सिंह चौटाला का कोई रोल नहीं था और FIR में अजय सिंह चौटाला का नाम दर्ज था। उन्होंने यह भी कहा था कि कांग्रेस और JJP दोनों सरकार में रहने के बावजूद महम कांड पर जांच आगे नहीं बढ़ा सकीं। इसी बयान को आपत्तिजनक मानते हुए JJP ने कर्ण को नोटिस भेजा था और अब मामला अदालत तक पहुंचने की तैयारी में है।