Alakh Haryana हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और अन्य आरोपितों के खिलाफ मानेसर भूमि घोटाले से संबंधित ट्रायल कोर्ट की सुनवाई पर लगी रोक 27 जनवरी के बाद समाप्त हो जाएगी। पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने यह स्पष्ट निर्देश दिए हैं। इस मामले में हुड्डा मुख्य आरोपितों में शामिल हैं, साथ ही तत्कालीन सरकार में विभिन्न उच्च पदों पर कार्यरत पूर्व नौकरशाहों, जैसे राजीव अरोड़ा, एसएस ढिल्लों, छतर सिंह और एमएल तायल, के नाम भी शामिल हैं। आरोपों के दायरे में कई बिल्डर भी हैं।
2020 से रुकी हुई है सुनवाई
यह मुकदमा दिसंबर 2020 से रुका हुआ है, जब आरोपित नौकरशाहों ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। जस्टिस मंजरी नेहरू कौल ने सीबीआई द्वारा दायर आवेदन पर सुनवाई के बाद यह आदेश जारी किए। सुनवाई को 27 जनवरी को दोपहर 2:30 बजे तक स्थगित किया गया है। कोर्ट ने निर्देश दिया है कि इस तारीख के बाद किसी भी परिस्थिति में स्थगन नहीं दिया जाएगा। साथ ही, याचिकाकर्ताओं और सीबीआई के वकीलों को अपनी अंतिम दलीलें प्रस्तुत करने के लिए तैयार रहने का आदेश दिया गया है।
घोटाले के प्रमुख आरोप
मानेसर भूमि घोटाले में तत्कालीन मुख्यमंत्री और नौकरशाहों पर आरोप है कि उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए भूमि सौदे में अनियमितताएं कीं, जिससे किसानों और सरकारी खजाने को भारी नुकसान हुआ।